उप्र बजट : वैश्विक निवेश को आकर्षित कर रही योगी सरकार की प्रोत्साहन नीति-2023
अवस्थापना और औद्योगिक विकास के क्षेत्र में उत्तर प्रदेश अग्रणी
लखनऊ, 05 फरवरी । पैदा नजर-नजर में एक ऐसा मुकाम कर, दुनिया सफर करे तेरे दामन को थाम कर, ये पंक्तियां वित्त मंत्री सुरेश खन्ना ने सदन में बजट पेश करते हुए प्रस्तुत की। कहा कि अवस्थापना और औद्योगिक विकास के क्षेत्र में उत्तर प्रदेश एक अग्रणी प्रदेश के रूप में उभरा है। सात वर्ष पूर्व कोई यह कल्पना भी नहीं कर सकता था कि उत्तर प्रदेश इतनी तीव्र गति से ऐसा मुकाम हासिल कर पाएगा।
वित्तीय वर्ष 2024-2025 के बजट प्रस्तुत करते हुए वित्त मंत्री सुरेश कुमार खन्ना ने कहा कि बुंदेलखंड क्षेत्र में एक नए औद्योगिक विकास प्राधिकरण (बीडा) का गठन किया जा रहा है। इसके अंतर्गत नोएडा और ग्रेटर नोएडा के अनुरूप बुंदेलखंड क्षेत्र में औद्योगिक वाणिज्यिक और आवासीय टाउनशिप विकसित करने की योजना है। सेमी कंडक्टर, डाटा सेंटर, स्टार्टअप एवं आईटी सेक्टर्स से संबंधित विशेष योजना के साथ वर्ष 2022 में इलेक्ट्रानिक्स मैन्युफैक्चरिंग को प्रोत्साहित करने के लिए नीति भी लागू की गई है।
प्रदेश में डिफेंस काॅरिडोर में बड़े पैमाने पर तेजी से कार्य किया जा रहा है। डिफेंस काॅरिडोर के छह नोड्स में से तीन नोड्स का आवंटन पूर्ण हो चुका है। उत्तर प्रदेश सरकार ने प्रदेश में एफडीआई, फॉर्च्यून ग्लोबल 500 और फॉर्च्यून इंडिया 500 कंपनियों के निवेश को आकर्षित करने के लिए फाॅरेन डाइरेक्ट इंवेस्टमेंट एवं फॉर्च्यून 500 कम्पनियों के निवेश के लिए प्रोत्साहन नीति-2023 घोषित की है।
किसी भी राज्य द्वारा बड़े पैमाने पर वैश्विक निवेश को आकर्षित करने का यह अपनी तरह का पहला प्रयास है। नीति के क्रियान्वयन के लिए 250 करोड़ रुपये प्रस्तावित है। गंगा एक्सप्रेस-वे परियोजना के लिए 2057 करोड़ 76 लाख, आगरा-लखनऊ एक्सप्रेस-वे और पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे को जोड़ने के लिए नए लिंक एक्सप्रेस-वे निर्माण के लिए 500 करोड़, अटल इंडस्ट्रियल इंफ्रास्ट्रक्चर मिशन के लिए 400 करोड़ रुपये प्रस्तावित है।