नगर शिक्षाधिकारी के औचक निरीक्षण में मिली गम्भीर खामियां

गड़बड़ी मिलने पर कान्वेंट विद्यालय के खिलाफ कारवाई की संस्तुति

नगर शिक्षाधिकारी के औचक निरीक्षण में मिली गम्भीर खामियां

प्रयागराज, 10 मार्च । शहर के माइनॉरिटी विद्यालयों एवं अन्य प्राइवेट विद्यालयों की मनमानी के चलते अभी भी 689 विद्यालयों के सापेक्ष लगभग डेढ़ सौ विद्यालयों का डाटा अपूर्ण है। खंड शिक्षा अधिकारियों द्वारा ऐसे विद्यालयों को लक्ष्य करके लगभग 10 विद्यालय प्रतिदिन निरीक्षण किया जा रहा है, जिसमें अनेक प्रकार की अनियमितताएं भी पाई गई हैं। ये माइनॉरिटी विद्यालय अपने को स्वयं अब स्वायत्त संस्था मानने लगे हैं एवं अपने नियम खुद बनाकर उसके अनुसार विद्यालय का प्रशासन चला रहे हैं।

शुक्रवार को यूनिटी पब्लिक स्कूल, बेनहर हाईस्कूल करेलाबाग, ज्योति शिक्षा संस्थान, रजिया बेगम जेएसएच, करेली कान्वेंट स्कूल, होराइजन पब्लिक स्कूल आदि का औचक निरीक्षण किया गया। जिसमें पाया गया कि इन विद्यालयों में शासन के निर्देशानुसार किसी टाइम एंड मोशन का पालन नहीं किया जा रहा है। नगर शिक्षा अधिकारी प्रज्ञा सिंह ने बताया कि बेनहर पब्लिक स्कूल में प्रवेश करके उन्होंने यू डाइस के संदर्भ में प्रधानाचार्य से बात की तो उन्होंने उनसे अभद्रतापूर्वक बात करते हुए उन्हें क्लर्क के ऑफिस में जाकर डाटा चेक करने का आदेश दिया। क्योंकि उनके अनुसार यह सभी कार्य उनके क्लर्क जिन्हें उन्होंने एडमिनिस्ट्रेटिव ऑफिसर का नाम दे रखा है, देखते हैं। उसके साथ ही यह भी कहा गया कि उन्हें बेसिक से कोई मान्यता प्राप्त नहीं होती, इसके अतिरिक्त जब उनसे स्कॉलर रजिस्टर की मांग की गई, तो उन्होंने कहा कि उनके यहां हार्ड कॉपी में स्कॉलर रजिस्टर मेंटेन नहीं किया जाता न ही कभी टीसी काउंटर साइन करने की आवश्यकता पड़ती है।







खंड शिक्षा अधिकारी प्रज्ञा सिंह ने बताया कि वे जब विद्यालय में प्रवेश करते हैं उनके लिए विद्यालय खोला भी नहीं जाता। प्रधानाचार्य से मिलने नहीं दिया जाता। इस पर पांच तारीख को नगर शिक्षा अधिकारी ने स्वयं फोन पर बात करके इन्हें 10 मार्च तक की अंतिम तिथि दी थी। इसके उपरांत आज इस प्रकार का गैर जिम्मेदाराना व्यवहार नजर आया। जिसको ध्यान में रखते हुए नगर शिक्षा अधिकारी ने आज बेनहर हाईस्कूल करेलाबाग का अनापत्ति प्रमाण पत्र (एनओसी) वापस लेने हेतु पत्र प्रेषित किया गया है। नगर शिक्षा अधिकारी प्रज्ञा सिंह एवं विनोद कुमार मिश्र का कहना है यदि अब भी स्थिति में सुधार नहीं आता तो ऐसे समस्त विद्यालय जो अपने आप को सर्वेसर्वा एवं शासकीय आदेश से ऊपर समझने लगे हैं कड़ी से कड़ी कार्यवाही की जाएगी।