महाकुम्भ केवल धार्मिक आयोजन नहीं, भक्ति व संस्कृति का अनुपम संगम : मंगल पांडेय
महाकुम्भ केवल धार्मिक आयोजन नहीं, भक्ति व संस्कृति का अनुपम संगम : मंगल पांडेय
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बिहार के मंत्री मंगल पांडेय सपत्नी संगम में लगाई आस्था की डुबकी
महाकुम्भ नगर, 12 फरवरी (हि.स.)। महाकुंभ केवल एक धार्मिक आयोजन नहीं, बल्कि आस्था, भक्ति और संस्कृति का अनुपम संगम है। यह बात बुधवार को माघी पूर्णिमा के पावन अवसर पर बिहार सरकार के स्वास्थ्य एवं कृषि मंत्री मंगल पांडेय को प्रयागराज महाकुंभ में त्रिवेणी संगम पर सपत्नी माघी पूर्णिमा के मौके पर आस्था की डुकी लगाने के बाद कही।
बिहार सरकार के स्वास्थ्य एवं कृषि मंत्री मंगल पांडेय मंगलवार की शाम अपने पत्नी के साथ पहुंचे और बुधवार सुबह वह संगम तट पर वैदिक मंत्रोच्चार के बीच गंगा, यमुना और अदृश्य सरस्वती के पावन जल में डुबकी लगाई और महाकुंभ के पुण्यकाल में स्नान का सौभाग्य प्राप्त होने पर हर्ष व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि "गंगे च यमुने चैव गोदावरि सरस्वति। नर्मदे सिन्धु कावेरि जलेऽस्मिन्सन्निधिं कुरु॥" यह महाकुंभ सनातन संस्कृति की दिव्यता और श्रद्धा का प्रतीक है, जहां करोड़ों श्रद्धालु आत्मशुद्धि और मोक्ष की कामना लेकर एकत्रित होते हैं।