मुख्यमंत्री योगी ने माघ मेला को महाकुम्भ के रिहर्सल रूप में आयोजित किए जाने के दिए निर्देश

माघ मेला सम्बंधित सभी कार्यों को 31 दिसम्बर तक अनिवार्य रूप से पूर्ण कराने के निर्देश

मुख्यमंत्री योगी ने माघ मेला को महाकुम्भ के रिहर्सल रूप में आयोजित किए जाने के दिए निर्देश

प्रयागराज, 27 दिसम्बर । मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बुधवार को निरीक्षण के उपरान्त प्रयागराज मेला प्राधिकरण स्थित आईसीसीसी सभागार में माघ मेला एवं महाकुम्भ 2025 के दृष्टिगत की जा रही तैयारियों के सम्बंध में कार्यों की समीक्षा कर आवश्यक दिशा निर्देश दिये। कहा कि यह माघ मेला आगामी महाकुम्भ के रिहर्सल के रूप में लिया जाय।

समीक्षा बैठक में मेलाधिकारी विजय किरन आनन्द ने प्रजेंटेशन के माध्यम से तैयारियों के बारे में जानकारी दी। उन्होंने मेले के प्रमुख स्नान पर्वों की तिथियों की जानकारी, क्षेत्रफल, सेक्टरों की संख्या, घाटों की संख्या व लम्बाई, कल्पवासियों की संख्या, प्रमुख स्नान पर्वों पर अनुमानित श्रद्धालुओं की संख्या, भूमि आवंटन, चिकित्सा केन्द्रों, शौचालयों सहित अन्य व्यवस्थाओं के बारे में जानकारी दी। इसके साथ ही उन्होंने इस बार माघ मेले में महाकुम्भ के आयोजन के दृष्टिगत इस बार माघ मेले में जो नए अभिनव प्रयोग किए जा रहे के बारे में भी जानकारी देते हुए बताया कि इस बार वाटर लेजर, थिमेटिक गेट्स, फ्लोटिंग जेटी, ड्रोन मानीटरिंग, सैनिटेशन ब्लाक, सोलर स्ट्रीट लाइट, थिमेटिक लाइट्स सहित अन्य नए प्रयोग माघ मेले में किए जा रहे है।

मुख्यमंत्री योगी ने माघ मेला में पार्किंग व यातायात व्यवस्था के बारे में जानकारी ली। कहा कि पार्किंग स्थल का चिन्हॉकन ऐसे स्थानों पर किया जाये, जो मेला क्षेत्र से दूर न हो, जिससे साधु-संतो, कल्पवासियों, श्रद्धालुओं को किसी प्रकार की असुविधा न हो। मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को बुजुर्ग कल्पवासियों को मेला क्षेत्र तक पहुंचाने की वैकल्पिक व्यवस्था करने के निर्देश दिए। उन्होंने पीडब्लूडी, सिंचाई, विद्युत, पर्यटन, जल निगम, यातायात सहित अन्य विभागों की समीक्षा करते हुए सभी विभागों को 31 दिसम्बर तक माघ मेले से सम्बंधित सभी कार्यों को पूरा करने के निर्देश दिए।


सीएम योगी ने पीडब्लूडी विभाग को सुव्यवस्थित ढंग से मेला क्षेत्र सम्बंधी कार्यों को पूर्ण करने के निर्देश दिए है। उन्होंने मैन पॉवर को बढ़ाकर पाण्टुन पुलों के निर्माण सहित अन्य कार्यों को 31 दिसम्बर तक पूर्ण कराने के निर्देश दिए। मुख्यमंत्री ने सिंचाई विभाग के अधिकारियों को गंगाजी में पर्याप्त मात्रा में जल की व्यवस्था, जल की शुद्धता, नदियों में सीधे नाले का गंदा पानी किसी भी हाल में न गिरने पाये, यह सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने पर्यटन विभाग के अधिकारियों को निर्देशित किया कि प्रयागराज में आने वाले पर्यटकों की सुविधा को किसी ऐसे एप-गूगल या किसी अन्य माध्यम से ऐसा डिजिटलीकरण करें, जिससे कि प्रयागराज में आने वाले पर्यटकों को यहां के पर्यटन स्थल के बारे में जानकारी हो सके और वे आसानी से जा सके।

मुख्यमंत्री ने प्लास्टिक को पूरी तरह से प्रतिबंधित करने के लिए कहा है। उन्होंने कौशाम्बी से प्रयागराज को जोड़ने वाले मार्गों पर हरियाली बढ़ाने के लिए वृक्षारोपण कराये जाने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने पार्किंग एवं टै्रफिक की अच्छी व्यवस्था सुनिश्चित करने के लिए कहा, जिससे प्रमुख स्नान पर्वों पर शहर वासियों एवं मेला क्षेत्र में आने वाले श्रद्धालुओं को कोई असुविधा न होने पाये।

इस अवसर पर जल शक्ति मंत्री स्वतंत्र देव सिंह, मंत्री लोक कल्याण विभाग जितिन प्रसाद, मंत्री औद्योगिक विकास नन्द गोपाल गुप्ता नंदी, सांसद केशरी देवी पटेल, महापौर गणेश केसरवानी, जिला पंचायत अध्यक्ष डॉ वीके सिंह, विधायकगण हर्षवर्धन वाजपेयी, पीयूष रंजन निषाद, डॉ वाचस्पति, गुरू प्रसाद मौर्या, प्रवीण पटेल, विधान परिषद सदस्य निर्मला पासवान, सुरेन्द्र चौधरी सहित अन्य जनप्रतिनिधिगणों के अलावा शासन स्तर के वरिष्ठ अधिकारीगणों के अलावा एडीजी जोन भानु भाष्कर, मण्डलायुक्त विजय विश्वास पंत, पुलिस आयुक्त रमित शर्मा, मेलाधिकारी विजय किरन आनंद, जिलाधिकारी नवनीत सिंह चहल सहित अन्य सम्बंधित अधिकारीगण उपस्थित रहे।